NCERT Solutions Class 9Th Science Biology – प्राकृतिक संपदा

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NCERT Solutions Class 9Th Science Biology – प्राकृतिक संपदा

अतिलघु उत्तरीय प्रश्नोत्तर

प्राकृतिक संपदा

1. वायुमण्डल क्या है ?
उत्तर – पृथ्वी की सतह के ऊपर हवा का घेरा वायुमण्डल है।
2. वायुमण्डल के विभिन्न जोनों के नाम बताएँ ।
उत्तर – (i) ट्रोपोस्फीयर,
(ii) स्ट्रेटोस्फीयर
(iii) मिजोस्फीयर,
(iv) थर्मोस्फीयर |
3. ट्रोपोस्फीयर का क्या महत्त्व है ?
उत्तर – वायुमण्डलीय ऑक्सीजन इसी भाग में पाई जाती है।
4. स्ट्रेटोस्फीयर का क्या महत्त्व है ?
उत्तर – इसमें ओजोन परत पाई जाती है तथा यह हमें सूर्य की पराबैंगनी विकिरणों से बचाती है।
5. वायुमंडल में CO2 गैस की मात्रा बढ़ने का पृथ्वी के औसत ताप पर क्या प्रभाव पड़ेगा ?
उत्तर – पृथ्वी का ताप बढ़ जाएगा।
6. कुछ क्षय योग्य प्राकृतिक स्रोतों के उदाहरण दें।
उत्तर – खनिज, कोयला, पेट्रोलियम, वन आदि ।
7. दो अक्षय प्राकृतिक स्रोतों के उदाहरण दें।
उत्तर – वायु तथा जल ।
8. ऊर्जा के नवीकरणीय स्रोतों के दो उदाहरण दें।
उत्तर – लकड़ी, जल तथा सौर ऊर्जा |
9. ऊर्जा के अनवीकरणीय स्रोतों के दो उदाहरण दें। 
उत्तर – कोयला तथा पेट्रोलियम |
10. वायुमण्डल के प्रमुख दो गैसीय घटकों के नाम बताएँ। 
उत्तर – नाइट्रोजन 78%, ऑक्सीजन 21% |
11. भौम जल स्तर किसे कहते हैं ?
उत्तर – पृथ्वी के नीचे जहाँ पर समस्त रंध्राकाश के तल जल से भरे रहते हैं, उस गहराई को भौम जल स्तर कहते हैं ।
12. वायु को प्रदूषित करने वाले दो कारक लिखें ।
उत्तर – वाहनों द्वारा निकाला गया धुआं तथा अन्तः दहन इंजनों द्वारा प्रचलित वाहनों द्वारा उत्पन्न की गई विषैली गैसें ।
13. जल प्रदूषण के दो कारण लिखें ।
उत्तर – उर्वरक तथा कीटनाशकों का फसलों पर छिड़काव तथा कारखानों द्वारा अपशिष्ट पदार्थों का नदियों में विसर्जन ।
14. जीव-भू रासायनिक चक्रण क्या होता है ?
उत्तर – अजैव पर्यावरण (भू-चट्टानें, वायु, जल) और जीवों के मध्य पोषक तत्त्वों में चक्रीय प्रवाह को जीव-भू रासायनिक चक्रण कहते हैं ।
15. दो ग्रीन हाउस गैसों के नाम लिखें।
उत्तर – (i) मेथेन तथा (ii) कार्बन डाइऑक्साइड ।
16. मृदा अपरदन को रोकने का एक उपाय बताएँ । 
उत्तर – वृक्षारोपण एवं घास उगाकर ।
17. प्रदूषण की परिभाषा लिखें ।
उत्तर – वायु, भूमि तथा जल के भौतिक, रासायनिक एवं जैविक लक्षणों में अवांछित परिवर्तन ही पर्यावरणीय प्रदूषण कहलाता है।
18. प्रदूषक किसे कहते हैं ?
उत्तर – वे पदार्थ अथवा कारक जिनके द्वारा वायु, जल, भूमि के भौतिक, रासायनिक एवं जैविक लक्षणों में अवांछित परिवर्तन उत्पन्न होता है, प्रदूषक कहलाते हैं।
19. वायु प्रदूषण के दो प्राकृतिक स्रोतों के नाम लिखें।
उत्तर – वायु प्रदूषण के दो प्राकृतिक स्रोत –
(i) दावानल । (ii) वायु में उड़ते पराग कण ।
20. ऐसे दो पदार्थों के नाम लिखें जिनका पुनः चक्रण किया जाता है। 
उत्तर – (i) मवेशी गृह का कचरा तथा गोबर । (ii) कपड़ा एवं कागज आदि ।
21. अम्ल वर्षा के लिए कौन सी गैसें उत्तरदायी हैं ? 
उत्तर – सल्फर तथा नाइट्रोजन के ऑक्साइड ।
22. डी० डी० टी० का पूरा नाम लिखें । 
उत्तर – डी० डी० टी० – डाइक्लोरोडाइफिनाइल ट्राइक्लोरोएथेन ।
23. CFC का पूर्ण रुप लिखें । 
उत्तर – क्लोरो-फ्लोरो-कार्बन ।
24. मृदा क्या है ?
उत्तर – मृदा जैविक तथा अजैविक घटकों का जटिल मिश्रण है और यह पौधों को जकड़े रखती है और जीविका प्रदान करती है ।
25. मृदा कटाव से क्या होता है ?
उत्तर – मृदा कटाव द्वारा मृदा की ऊपरी सतह वायु या जल द्वारा पृथक हो जाती है ।
26. वायु प्रदूषण के कारण जीवों में कौन से श्वसन रोग उत्पन्न होते हैं ? 
उत्तर – दमा, ब्रोंकाइटिस, फेफड़ों का कैंसर तथा न्यूमोनिया आदि ।
27. जल प्रदूषकों के नाम लिखें ।
उत्तर – जल में कैल्सियम, मैग्नीशियम, भारी धातुएँ, तेल, अपमार्जक, सूक्ष्म जीव घरेलू अपशिष्ट, रेडियोधर्मी अपशिष्ट आदि ।
28. वृक्षों तथा पौधों की अंधाधुंध कटाई तथा निर्वनीकरण से वायुमंडल में किस गैस की मात्रा में वृद्धि हुई है ?
उत्तर – कार्बन डाइऑक्साइड ।
29. ओजोन परत हमारे लिए किस प्रकार लाभदायक है ? 
उत्तर – ओजोन परत हमारी सुरक्षा करती है। यह हमें हानिकारक विकिरण से बचाती है।

लघु उत्तरीय प्रश्नोत्तर

1. ‘प्राकृतिक संसाधन’ को उदाहरण सहित परिभाषित करें। 
उत्तर – प्रकृति में उपलब्ध लाभदायक पदार्थों को प्राकृतिक संसाधन कहते हैं। जैसे- हवा, पानी, मृदा, खनिज, कोयला, पेट्रोलियम, जीव-जन्तु आदि प्राकृतिक संसाधन हैं।
2. प्राकृतिक संसाधन के प्रकारों को उदाहरण सहित बताएँ । 
उत्तर – प्राकृतिक संसाधन के मुख्यतः दो प्रकार हैं –
(i) अक्षय प्राकृतिक संसाधन- ये संसाधन प्रकृति में असीमित मात्रा में उपलब्ध हैं। जैसे— सूर्य की किरणें, वायु तथा जल
(ii) क्षय योग्य प्राकृतिक संसाधन- इन प्राकृतिक संसाधनों का भण्डार सीमित है। जैसे- खनिज, कोयला, पेट्रोलियम आदि ।
3. ओजोन परत हमारे लिए किस प्रकार लाभदायक है ?
उत्तर – ओजोन परत अंतरिक्ष से आनेवाली पराबैंगनी किरणों को अवशोषित कर लेती है तथा जन्तुओं और वनस्पति जीवन को उसके हानिकारक प्रभाव से बचाती है।
4. मिट्टी की उर्वरकता से आप क्या समझते हैं ?
उत्तर – ऐसी मृदा जिसमें पोषक तत्व पाए जाते हैं तथा पादप जीवन के विकास के लिए सहायक होती है, मृदा उर्वरकता कहलाती है।
5. मृदा के घटकों के नाम बताएँ ।
उत्तर – मृदा, चट्टानें, वर्षा, हवा, ताप के बीच पारस्परिक क्रिया के द्वारा बनती है। हवा तथा ताप परिवर्तन के प्रभाव से चट्टानें छोटी-छोटी टुकड़ों में टूटकर पाउडर के रूप में हो जाती है तथा मृदा का निर्माण करती हैं।
6. जल संरक्षण के कुछ प्रमुख उपाय लिखें ।
उत्तर – भू-जल का पुनःपूरण हो सकता है यदि बहुत अधिक पानी मृदा में अंदर जाता है। यह वर्षा से होता है तब बहता सतही जल मृदा के अंदर आसानी से जाता है। चूँकि वर्षा अधिक पौधे लगाने से बढ़ाई जा सकती है इसलिए जलस्तर उस स्थान में अधिक होगा जहाँ घने जंगल होंगे ।
7. शुक्र तथा मंगल ग्रहों के वायुमंडल से हमारा वायुमंडल कैसे भिन्न है ?
उत्तर – हमारे वायुमंडल में अनेक गैसों जैसे- नाइट्रोजन, ऑक्सीजन, कार्बन डाइऑक्साइड तथा जलवाष्प का मिश्रण है जो जीवन को बनाए रखने में सहायता करता है । लेकिन शुक्र व मंगल के वायुमंडल में 95 से 97% तक कार्बन डाइऑक्साइड होती है।
8. वायुमंडल एक कंबल की तरह कैसे कार्य करता है ?
उत्तर – वायुमंडल एक कंबल की तरह कार्य करता है
(i) यह औसत ताप को स्थिर रखता है।
(ii) यह दिन के समय अचानक ताप की वृद्धि को रोकता है।
(iii) रात के समय यह बाहरी अंतरिक्ष में ऊष्मा के पलायन को रोकता है।
9. वायु प्रवाह (पवन ) के क्या कारण हैं ?
उत्तर – पृथ्वी के ऊपर की वायु शीघ्रता से गर्म होकर हल्की हो जाती है और ऊपर उठ जाती है। इस प्रकार वायु का दाब कम हो जाता है। अतः समुद्र के ऊपर की वायु कम दाब वाले एरिया की तरफ बहने लगती है । यह बहती हुई वायु पवन कहलाती है ।
10. बादलों का निर्माण कैसे होता है ?
उत्तर – जल स्रोतों से पानी वाष्प के रूप में हवा में चला जाता है। कुछ जलवाष्प हवा में पहले से ही मौजूद होते हैं। ऊपर जाकर जलवाष्प ठंडी हो जाती है। ठंडी होकर यह छोटी-छोटी जल की बूँदें वायु में निलंबित होकर बादलों का निर्माण करती हैं।
11. मनुष्य के तीन क्रियाकलापों का उल्लेख करें जो वायु प्रदूषण में सहायक हैं। 
उत्तर – (i) जीवाश्म ईंधनों का दहन |
(ii) अनजले कार्बन के निलंबन कण तथा धूम कोहरा ।
(ii) इंडस्ट्रीज से निकला हुआ धुआँ ।
12. जीवों को जल की आवश्यकता क्यों होती हैं ?
उत्तर – (i) सभी कोशिकीय प्रक्रियाएँ जल माध्यम में होती है।
(ii) पदार्थों का संवहन घुली अवस्था में होता है।
(iii) प्राणी को जीवित रहने हेतु जल आवश्यक है।
(iv) जल प्राणियों का आवास भी है।
(v) स्थलीय जीवों को मीठे जल की आवश्यकता होती है ।
13. जिस गाँव / शहर / नगर में आप रहते हैं वहाँ पर उपलब्ध शुद्ध जल का मुख्य स्रोत क्या है ?
उत्तर – शहर में— नगर निगम द्वारा निर्मित जल के टैंक
गाँवों में तालाब, कुएँ, नल तथा नदियाँ एवं नहर आदि ।
14. क्या आप किसी क्रियाकलाप के बारे में जानते हैं जो इन जल के स्रोत को प्रदूषित कर रहा है ?
उत्तर – (i) नदी – सीवर का पानी, नहाने व धोने वाला पानी नदी जल को प्रदूषित करता है।
(ii) कुँआ – नहाने व धोने वाला पानी कुँए के पानी को प्रदूषित करता है।
15. मृदा (मिट्टी) का निर्माण किस प्रकार होता है ? 
उत्तर – मिट्टी बनाने में निम्नांकित कारक काम करते हैं
  1. सूर्य – पत्थरों को गर्म करता है जिससे वे प्रसारित हो जाते हैं। रात के समय पत्थर सिकुड़ जाते हैं। इससे उसमें दरार पड़ जाती है और वह टूट जाता है।
  2. जल- जल मिट्टी के निर्माण में दो तरीके से सहायता करता है –
    1. सूर्य के ताप से बनी दरार में पानी भर जाता है जो यदि जम जाता है तो वह दरार को चौड़ा कर देता है लेकिन यदि पानी बाद में जमता है तो यह दरार को और भी चौड़ा करेगा क्योंकि बहता हुआ व जमा हुआ पानी पत्थर को छोटे-छोटे टुकड़ों में तोड़ देता है।
    2. तेज गति से बहता पानी पत्थर के टुकड़ों को बहा ले जाता है जिससे आपस में टकराकर टूट कर और छोटे हो जाते हैं। इस प्रकार मिट्टी अपने मूल पत्थर के स्थान से काफी दूर पायी जाती है ।
  3. हवा – हवा से पत्थर के टुकड़े आपस में टकराकर और भी छोटे टुकड़ों में बँट जाते हैं ।
  4. जीव- जीव भी मिट्टी के बनने की प्रक्रिया को प्रभावित करते हैं। लाइकेन पत्थरों की सतह पर उगते हैं जो पत्थर को चूर्ण के रूप में बदल देते हैं और मिट्टी की परत का निर्माण करते हैं। इसी प्रकार मॉस भी मिट्टी को बारीक करने का काम करते हैं ।
16. मृदा अपरदन क्या है ? 
उत्तर – मिट्टी की ऊपरी उपजाऊ परत के हटने की प्रक्रिया को मिट्टी का अपरदन कहते हैं।
17. अपरदन को रोकने और कम करने के कौन-कौन से तरीके हैं ? 
उत्तर – अपरदन को रोकने और कम करने के तरीके
(i) अधिक से अधिक फसल उगाना,
(ii) अधिक चराई को रोकना,
(iii) पेड़ों के काटने को कम करना तथा काटे गये पेड़ों के स्थान पर अधिक पेड़ उगाना।
(iv) मिट्टी की उपजाऊ शक्ति को बनाए रखना तथा फसल उगाना।
18. जल-चक्र के क्रम में जल की कौन-कौन सी अवस्थाएँ पाई जाती हैं ? 
उत्तर – जल-चक्र में पानी की निम्नांकित तीन अवस्थाओं में प्रयोग होता है
(i) ठोस (बर्फ). (ii) द्रव, (iii) जलवाष्प ।
19. जैविक रूप से महत्वपूर्ण दो यौगिकों के नाम दें जिनमें ऑक्सीजन और नाइट्रोजन दोनों पाए जाते हैं ?
उत्तर – (i) ऑक्सीजन- कार्बनडाइऑक्साइड, पटल में, धातुओं के आक्साइड CO3, SO4, PO4 में |
(ii) नाइट्रोजन – प्रोटीन, न्यूक्लिक अम्ल (RNA, DNA) विटामिन आदि ।
20. ग्रीन हाउस प्रभाव क्या है ? 
उत्तर – ग्रीन हाउस प्रभाव – वायुमंडल में उपस्थित CO2 परत द्वारा उष्मीय प्रभाव वाली अवरक्त किरणों के प्रगृहीत (Trap ) होने की वजह से वायुमंडल में गर्म हो जाने को ग्रीन हाउस प्रभाव कहते हैं ।
21. वायुमंडल में पाए जाने वाले ऑक्सीजन के दो रूप कौन-कौन से हैं ? 
उत्तर – वायुमंडल में ऑक्सीजन निम्नांकित दो रूपों में पाई जाती है –
(i) द्विपरमाण्विक रूप में ऑक्सीजन (O2),
(ii) त्रिपरमाण्विक रूप में ओजोन (O3) ।
22. जीवन के लिए वायुमंडल क्यों आवश्यक है ?
उत्तर – वायुमंडल का महत्व –
(i) यह ताप को लगभग स्थिर रखता है। यदि पृथ्वी का ताप अचानक बढ़ जाता है तो यह जीवन के लिए हानिकारक होता है ।
(ii) यह रात के समय ऊष्मा का बाहरी अंतरिक्ष में पलायन को रोकता है ।
23. जीवन के लिए जल क्यों अनिवार्य है ? 
उत्तर – पानी का महत्व –
(i) कोशिका के अन्दर होने वाले जैविक क्रियाओं के लिए पानी आवश्यक है।
(ii) पदार्थों के एक भाग से दूसरे भाग तक स्थानान्तरण के लिए पानी आवश्यक है।
24. जीवित प्राणी मृदा पर कैसे निर्भर है ? क्या जल में रहने वाले जीव संपदा के रूप में मृदा से पूरी तरह स्वतंत्र हैं ?
उत्तर – जीवित प्राणी प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से मिट्टी पर निर्भर करते हैं क्योंकिसभी जीवित प्राणी ऊर्जा व खाद्य पदार्थों के लिए हरे पौधों पर निर्भर करते हैं। माँसाहारी भी दूसरे शाकाहारी जीवों पर निर्भर करते हैं। माँसाहारी भी दूसरे शाकाहारी जीवों पर निर्भर करते हैं। पौधे मिट्टी पर निर्भर करते हैं क्योंकि –
(i) पौधे अपने भोजन के लिए पोषक तत्व मिट्टी से लेते हैं।
(ii) पौधे अपनी जड़ों द्वारा मिट्टी में खड़े रहते हैं।
यह कहना सही नहीं है कि जल में रहने वाले जीव पूर्ण रूप से मिट्टी से स्वतंत्र होते हैं क्योंकि जो जीव पानी में रहते हैं वे भी हरे पौधों पर निर्भर रहते हैं। वे खनिज तथा ऊर्जा पौधों से लेते हैं। पौधे मिट्टी से अपना भोजन लेते हैं। चट्टानों में पाए जाने वाले खनिज भी तभी जीवों द्वारा लिए जा सकते हैं जब वे मिट्टी के रूप बदल जाते हैं ।
अतः यह कहा जा सकता है कि सभी जीव स्थलीय या जलीय मिट्टी पर प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से निर्भर रहते हैं ।
25. आपने टेलीविजन पर और समाचारपत्र में मौसम संबंधी रिपोर्ट को देखा होगा । आप क्या सोचते हैं कि हम मौसम के पूर्वानुमान में सक्षम हैं ?
उत्तर – मौसम का पूर्वानुमान पवन की चाल व दिशा के अध्ययन द्वारा किया जा सकता है जो वर्षा आदि के विषय में अनुमान लगाने में सहायता करता है। इसके द्वारा कम व अधिक वायुदाब के क्षेत्रों का पता लगाया जा सकता है। भारत में अधिकतर वर्षा दक्षिणी-पश्चिमी या उत्तरी-पश्चिमी मानसून द्वारा होती है।
26. जंगल वायु, मृदा तथा जलीय स्रोत की गुणवत्ता को कैसे प्रभावित करते हैं ? 
उत्तर – जंगल हवा, मिट्टी व जलीय स्रोत तीनों को प्रभावित करते हैं –
(i) जंगल कार्बन डाइऑक्साइड व ऑक्सीजन के संतुलन को बनाए रखते है। वे प्रकाश संश्लेषण के लिए CO2 लेते हैं तथा O2 निकालते हैं तथा श्वसन व दहन से CO2 निकालते हैं और O2 लेते हैं ।
(ii) जंगल मृदा अपरदन को रोकते हैं। पौधों की जड़ें मिट्टी को जकड़े रखती है और जल व वायु द्वारा मिट्टी को बहने से रोकती है।
(iii) जंगल जल स्रोतों को पुनःपूरण के लिए भी आवश्यक हैं। ये वाष्पोत्सर्जन द्वारा व जल-चक्र द्वारा भूमिगत तथा पृथ्वी ऊपर के जल स्रोतों को बनाए रखने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं ।
इस प्रकार, जंगल मिट्टी जल तथा वायु स्रोतों की गुणवत्ता को प्रभावित करते हैं।
27. ओजोन सतह का अवक्षय क्यों हो रहा है और यह हमें कैसे प्रभावित करता है ? 
उत्तर – वायुमंडल में प्रदूषण के अधिक होने के कारण ओजोन सतह का अवक्षय हो रहा है। इसके कारण पराबैंगनी विकिरणें सीधी ही पृथ्वी पर पहुँच जायेगी और मानव तथा अन्य जंतुओं में त्वचा रोग जैसे कैंसर उत्पन्न कर देंगी।
28. मृदा कटाव रोकने के लिए क्या करना चाहिए ?
उत्तर – पेड़-पौधों को अत्यधिक मात्रा में उगाना चाहिए। सघन खेती अपनानी चाहिए।
29. भूमि प्रदूषण कैसे फैलता है ?
उत्तर – घरों, गोशाला, कारखानों और खेतों आदि से निकले ठोस अपशिष्ट पदार्थों से भूमि पर प्रदूषण फैलता है ।
30. वायु प्रदूषण के दो प्राकृतिक स्रोत लिखें ।
उत्तर – वनों में आग तथा ज्वालामुखी।
31. वायु प्रदूषण कैसे होता है ?
उत्तर – वायु एक निश्चित अनुपात में गैसों का मिश्रण है। जब कभी गैसों के अनुपात में कोई असंतुलन हो जाता है तो वायु प्रदूषण होता है।
32. पराबैंगनी विकिरण के हानिकारक प्रभाव लिखें ।
उत्तर – पराबैंगनी किरणों के दुष्प्रभाव –
(i) केटेरेक्टस ।
(ii) तापदाह विकार ।
(iii) कैंसर अथवा ट्यूमर |
33. ओजोन सतह के अवक्षय से हानिकारक प्रभाव लिखें ।
उत्तर – ओजोन सतह के अवक्षय के कारण पराबैंगनी किरणें सीधी पृथ्वी तक पहुँच जाएँगी और त्वचा कैंसर जैसे रोग उत्पन्न करेंगी। वायुमंडल भी गर्म हो जाएगा।
34. वायु प्रदूषण के स्रोत क्या हैं ?
उत्तर – वायु प्रदूषण के स्रोत दो प्रकार के होते हैं
(i) प्राकृतिक स्रोत,
(ii) मानव निर्मित ।
(i) प्राकृतिक स्रोत – जंगलों में आग, ज्वालामुखी, आँधी आदि प्राकृतिक स्रोत हैं।
(ii) मानव निर्मित स्रोत- धुमपान से धुआँ, वनों का काटना, शहरीकरण और औद्योगीकरण आदि मानव निर्मित स्रोत हैं ।
35. वायु प्रदूषण के हानिकारक प्रभाव क्या हैं ?
उत्तर – वायु प्रदूषण के निम्नांकित हानिकारक प्रभाव हैं
(i) यह स्वास्थ्य को प्रभावित करता है और श्वास रोग जैसे खाँसी, जुकाम, दमा, क्षय, फेंफड़ों का कैंसर, श्वसनी-शोथ आदि हो जाते हैं ।
(ii) मोटर वाहनों और सिगरेटों के धुएँ में कार्बन मोनो ऑक्साइड होती है जो तंत्रिका तंत्र को प्रभावित करती है और घुटन होने लगती है।
36. जल प्रदूषण के तीन हानिकारक प्रभावों का वर्णन करें। 
उत्तर – जल प्रदूषण के तीन हानिकारक प्रभाव निम्नांकित हैं –
(i) इससे जल वाहित रोग जैसे- टायफाइड, हैजा इत्यादि होते हैं ।
(ii) जल स्वच्छ करने वाले सूक्ष्म जीव अम्ल और क्षार जल में मिलने के कारण नष्ट हो जाते हैं ।
(ii) सुपोषण जब नाइट्रेट आदि अपशिष्ट पदार्थ जल भंडारों में पहुँचते हैं तो शैवाल की वृद्धि दर बहुत बढ़ जाती है । फलस्वरूप जल में घुली ऑक्सीजन का स्तर घट जाता है, जिससे उपयोगी जलीय जीवन की मृत्यु हो जाती है ।
37. जल प्रदूषण की रोकथाम के उपाय लिखें ।
उत्तर – जल प्रदूषण की रोकथाम –
(i) जल प्रदूषण रोकने के लिए अपशिष्ट पदार्थ प्लास्टिक आदि को खुली नाली में नहीं डालना चाहिए ।
(ii) विभिन्न उद्योगों से निकलने वाला कार्बनिक यौगिकों का अपशिष्ट जैव गैस संयंत्र में डालकर ऊर्जा उत्पन्न करनी चाहिए ।
(iii) गंदे जल को नदी नालों में नही डालना चाहिए ।
38. ओजोन अवक्षय के हानिकारक प्रभाव क्या होते हैं ? 
उत्तर – ओजोन अवक्षय के हानिकारक प्रभाव
(i) त्वचीय कैंसर,
(ii) वैश्विक वर्षा,
(iii) पारिस्थितिक असंतुलन,
(iv) आँखों तथा प्रतिरक्षी तंत्र को हानि ।
39. “जल जीवन के लिए आवश्यक है।” इसको सिद्ध करें । 
उत्तर – जीवन हेतु जल आवश्यक है, क्योंकि –
(i) जल शरीर में समान ताप का नियंत्रण करता ।
(ii) उत्सर्जी पदार्थों को बाहर निकालता है ।

दीर्घ उत्तरीय प्रश्नोत्तर

1. मृदा अपरदन क्या है ? इसके कारण तथा प्रभाव क्या हैं ? इसे किस प्रकार रोका जा सकता है ?
उत्तर – मृदा अपरदन – इसका अर्थ होता है मिट्टी की परत का नष्ट होना । मृदा अपरदन में मिट्टी की उपजाऊ सतह अपने मूल स्थान से हटकर दूसरे स्थानों पर स्थानांतरित हो जाती है। मृदा अपरदन में अनेक भौतिक एवं रासायनिक परिवर्तन होते रहते हैं।
मृदा अपरदन के कारण – मृदा अपरदन के दो मुख्य कारक हैं –
(i) वातावरणीय कारक- जल तथा वायु ।
(ii) जैवीय कारक वनों का नष्ट होना ।
प्रभाव– मृदा अपरदन से बहुत अधिक क्षति होती है। इससे मिट्टी की उपजाऊ शक्ति नष्ट हो जाती है। वह बंजर बन जाती है। नदियों में बाढ़ आती है। भूमिगत जल का स्तर नीचा हो जाता है। भूमि असमतल हो जाती है जिससे कृषि-क्रियाएँ सरलता से पूरी नहीं हो पाती ।
रोकने के उपाय –
(a) बाँध बनाकर,
(b) वृक्षारोपण,
(c) खेतों की मेढ़ ऊँची करके ।
2. अम्लीय वर्षा किसे कहते हैं ? इसके कौन-कौन से हानिकारक प्रभाव होते हैं ? 
उत्तर – पृथ्वी पर मोटरवाहनों के धुओं एवं कारखानों की चिमनियों के धुओं में सल्फर डाइऑक्साइड, नाइट्रोजन ऑक्साइड एवं कार्बन डाइऑक्साइड गैसें होती हैं। ये गैसें वायुमंडल में ऊपर उठती हैं एवं वर्षा के समय वर्षा के जल से अभिक्रिया करके अम्ल बनाती हैं । यह अम्ल जब वर्षा जल के साथ भूमि पर आता है तो इसे अम्लीय वर्षा कहते हैं ।
अम्लीय वर्षा से निम्नांकित हानियाँ हैं – 
(i) इससे पेड़-पौधों की पत्तियाँ क्षतिग्रस्त हो जाती है और प्रकाश संश्लेषण की दर कम हो जाती है ।
(ii) इससे ऐतिहासिक इमारतें क्षतिग्रस्त हो जाती हैं क्योंकि उनका संगमरमर या चूना अम्ल से अभिक्रिया करता है।
(iii) इससे त्वचारोग होने की सम्भावना रहती है।
3. वैश्विक ऊष्मन या पौधाघर प्रभाव क्या है ? इसके क्या परिणाम हो सकते हैं ? 
उत्तर – वैश्विक ऊष्मन या पौधाघर प्रभाव – पृथ्वी पर मानव गतिविधियों के कारण वायुमंडल में ऊष्माशोषक गैसों CO2, CH4, O3 की सान्द्रता बढ़ती है। इससे पृथ्वी का तापमान बढ़ता है। इसी प्रक्रम को वैश्विक ऊष्मन या पौधाघर प्रभाव कहते हैं ।
वैश्विक ऊष्मन या पौधाधर प्रभाव के निम्नांकित परिणाम हो सकते हैं – 
(i) इससे मौसम सम्बन्धी विसंगतियाँ उत्पन्न होगी जैसे कहीं पर अधिक तापमान होगा तो कहीं पर कम । इससे जलवायु में परिवर्तन हो सकता है।
(ii) विश्व – तापमान में वृद्धि के कारण ध्रुवप्रदेशों की बर्फ पिघल सकती है। इससे समुद्र का तल ऊँचा उठेगा और तटवर्ती क्षेत्र जलमग्न हो जायेंगें ।
4. वायु प्रदूषण को रोकने के लिए क्या करना चाहिए ? 
उत्तर – वायु प्रदूषण को रोकने के लिए उपाय
(i) सड़कों के किनारे अधिक पेड़ लगाने चाहिए ।
(ii) वाहनों की उचित जाँच तथा प्रदूषण के मानक स्तर का निर्वहन जैसे यूरो–॥
(iii) अच्छे प्रकार के यंत्र प्रयोग / धुँआ रहित ईंधन का वाहनों में प्रयोग करें।
(iv) ऊर्जा के नये स्रोतों जैसे वायु, सौर ऊर्जा आदि प्रयुक्त करनी चाहिए ।
(v) उद्योगों में फिल्टर युक्त चिमनी को अधिक ऊँचाई पर लगाना चाहिए।
5. जैव रासायनिक चक्रण क्या है ? जल चक्र का वर्णन करें ।
उत्तर – जैव रासायनिक चक्रण- जीवमंडल में जैविक तथा अजैविक घटकों के बीच पदार्थों का चक्रण जीव रासायनिक चक्रण कहलाता है ।
जलीय चक्रण- जलाशयों से पानी का वाष्पीकरण होता है। संघनन के बाद वर्षा होती है। यह जलाशयों में वापस जाता है। संपूर्ण प्रक्रिया जिसके द्वारा पानी जल वाष्प बनाता है और वर्षा के रूप में सतह पर गिरता है और फिर नदियों के द्वारा समुद्र में पहुँचा दिया जाता है उसे जलीय चक्र कहा जाता है। जल के साथ कुछ मिट्टी के कण भी अंदर चले जाते हैं। यह भूजल के साफ पानी का हिस्सा बनते हैं। कुछ भूजल झरनों के द्वारा सतह पर आता है। इसे हम कूपों और नलकूपों की सहायता से सतह पर लाते हैं। स्थलीय जीव जंतु और पौधे पानी का उपयोग करते हैं ।
6. कार्बन-चक्र का वर्णन करें ।
उत्तर – कार्बन-चक्र-
कार्बन मूल रूप से हीरा तथा ग्रेफाइट में पाया जाता है।
कुछ जंतुओं के बाहरी तथा भीतरी कंकाल कर्बोनेट लवणों से बने होते हैं। प्रकाश संश्लेषण जो सूर्य की उपस्थिति में उन सभी जीवित प्रकारों में होती है जिनमें क्लोरोफिल होता है, की मूल क्रिया द्वारा कार्बन समाविष्ट होता है। यह प्रक्रिया वायुमंडल में या पानी में घुले यौगिक के रूप में कार्बन वायुमंडल में CO2 के रूप में, विभिन्न प्रकार के खनिजों में कार्बोनेट और हाइड्रोजन कार्बोनेट के रूप में, जीवन के कार्बन आधारित अणुओं जैसे- प्रोटीन, कार्बोहाइड्रेटस, वसा, न्यूक्लीक अम्ल और विटामिन में विद्यमान होता है ।
प्रकाश संश्लेषण CO2 को ग्लुकोस (C6H12O6) अणुओं में बदल देती है। ये ग्लुकोज अणु दूसरे पदार्थों में बदल दिए जाते हैं जिससे ऊर्जा प्रदान होती है वह श्वसन की क्रिया । ग्लूकोस को कार्बन डाइऑक्साइड में बदलने के लिए ऑक्सीजन का प्रयोग ( आक्सीश्वसन) हो भी सकता है और नहीं भी ।
श्वसन के बाद CO2 उत्पन्न होती है। कार्बन डाइऑक्साइड वायुमंडल में वापस चली जाती है। दहन (ईंधन का इस्तेमाल खाना पकाने, गर्म करने, यातायात और उद्योग धंधों में) द्वारा वायुमंडल में CO2 का प्रवेश होता है ।
औद्योगिक क्रांति के काल में जीवाश्म ईंधनों को जलाने से वायुमंडल में कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा दोगुनी हो गई है। कार्बन का चक्रण विभिन्न भौतिक एवं जैविक क्रियाओं के द्वारा होता है ।
7. नाइट्रोजन-चक्र क्या है ? व्याख्या करें ।
उत्तर – नाइट्रोजन-चक्र-
वायुमंडल का 78% भाग नाइट्रोजन गैस है। नाइट्रोजन प्रोटीन, न्यूक्लीक अम्ल, डी० एन० ए० और आर० एन० ए० और कुछ विटामिन तथा दूसरे जैविक यौगिकों में भी पाया जाता है जैसे- ऐल्केलॉइड तथा यूरिया आदि ।
नाइट्रोजन स्थिरीकरण – 
नाइट्रोजन का स्थिरीकरण करने वाले बैक्टीरिया कुछ स्वतंत्र रूप से रहते हैं । कुछ बैक्टीरिया द्विबीजपत्री पौधों की कुछ स्पीशीज के साथ पाए जाते हैं। जैसेलेग्यून पौधे। नाइट्रोजन को स्थिर करने वाले बैक्टीरिया जैसे- फलीदार पौधों की जड़ों में एक विशेष प्रकार की संरचना मूल ग्रंथिका में पाए जाते हैं। भौतिक क्रियाओं के द्वारा नाइट्रोजन परमाणु नाइट्रेट्स (NO3) और नाइट्राइट्स में बदलते हैं। बिजली चमकने के दौरान हवा में पैदा हुआ उच्च ताप तथा दाब नाइट्रोजन के ऑक्साइड में बदल देता है जो पानी (H2O) ऑक्साइड में घुलकर नाइट्रिक अम्ल (HNO3) बनाते हैं। वर्षा के साथ ये भूमि की सतह में गिरते जिसे अम्ल वर्षा कहते हैं।
पौधे नाइट्रेटस और नाइट्राइट्स को प्राप्त कर उन्हें अमीनों अम्ल में परिवर्तित कर देते हैं।
8. ऑक्सीजन-चक्र का वर्णन करें ।
उत्तर – ऑक्सीजन-चक्र (O2)– कार्बोहाइड्रेट्स, प्रोटीन, न्यूक्लीक अम्ल और वसा जैसे जैविक अणुओं का ऑक्सीजन एक आवश्यक घटक है।
यह मूल रूप में वायुमंडल में 21% है। बड़े पैमाने पर यह पृथ्वी के पटल में यौगिक के रूप में और वायु में CO2 के रूप में पाया जाता है। पटल में यह धातुओं और सिलिकन के ऑक्साइड के रूप में पाया जाता है। कार्बोनेट, सल्फेट, नाइट्रेट और दूसरे खनिजों में भी ऑक्सीजन होती है।
O2 पृथ्वी पर बहुत अधिक मात्रा में पाया जाने वाला तत्त्व है।
वायुमंडल से ऑक्सीजन का उपयोग श्वसन, दहन और नाइट्रोजन के ऑक्साइड के निर्माण में होता है। प्रकाश संश्लेषण द्वारा O2 वायुमंडल में लौटती है। प्रकाश संश्लेषण तथा पृथ्वी बड़े ऑक्सीजन चक्र (O2 cycle) का निर्माण करता है।
9. ओजोन परत क्या है ? इसके हृास का क्या कारण है ? वर्णन करें ।
उत्तर – ओजोन परत – ऑक्सीजन मूल रूप में एक द्विपरमाण्विक अणु के रूप में पाया जाता है। हमारे वायुमंडल के ऊपरी भाग में ऑक्सीजन के तीन अणु भी पाए जाते हैं। यह ओजोन है। इसका रासायनिक सूत्र है O3 | ओजोन जहरीला होता है । यह हमारे लिए लाभदायक है। ओजोन सूर्य के हानिकारक विकिरणों को सोखता है तथा उन नुकसानदायक विकिरणों को पृथ्वी की सतह पर पहुँचने से रोकता है जो हमें तथा पौधों को नुकसान पहुँचा सकता है।
ओजोन परत का अवक्षय O2 का क्षय हो रहा है। इसका कारण है विभिन्न प्रकार के यौगिक जैसे- क्लोरोफ्लोरोकार्बन जो वायुमंडल में स्थिर अवस्था में पाए जाते हैं। परिणामस्वरूप ओजोन के परत में कमी आती है। हाल ही में अंटार्कटिका के ऊपर ओजोन परत में छिद्र पाया गया है ।

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