अयस्कों से धातु के निष्कर्षण में प्रयुक्त चरणों को लिखिए |

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प्रश्न – अयस्कों से धातु के निष्कर्षण में प्रयुक्त चरणों को लिखिए |

उत्तर – अयस्कों से धातु के निष्कर्षण में प्रयुक्त चरण निम्नलिखित हैं –
(i) अयस्क का सान्द्रण
(ii) सांद्रित अयस्क का धातु के ऑक्साइड में परिवर्तन
(iii) धातु के ऑक्साइड से धातु का निष्कर्षण
(iv) धातु का परिष्करण (शुद्धिकरण )
(i) अयस्क का सान्द्रण : पृथ्वी से खनित अयस्को में मिट्टी, बालू, पत्थर के टुकड़े इत्यादि कई अशुद्धियाँ होती हैं इन्हीं अशुद्धियों को दूर करने के लिए अयस्कों का सान्द्रण किया जाता है इसके सान्द्रण की निम्न विधियाँ हैं – (i) हाथ से चुनकर (ii) गुरुत्व पृथ्वीकरण विधि (iii) चुम्बकीय पृथ्वीकरण विधि तथा (iv) फेन उत्पलावन विधि |
(ii) सान्द्रित अयस्क का धातु के ऑक्साइड में परिवर्तन : धातुओं को उनके कार्बोनेट, सल्फाइड या हैलाइड अयस्कों की तुलना में उनके ऑक्साइड से प्राप्त करना आसान होता है : लिए ऐसे सान्द्रित अयस्क को पहले ऑक्साइड में परिवर्तित कर धातु का निष्कर्षण किया जाता है इसमें भर्जन एवं निस्तापन किया जाता है।
(iii) धातु के ऑक्साइड से धातु का निष्कर्षण : धातु के ऑक्साइड से धातु का निष्कर्षण अपचयन विधि द्वारा किया जाता है धातु के निष्कर्षण के लिए अपचयन की तीन विधियाँ हैं है (i) उष्मा उपचयन (ii) रासायनिक अपचयन (iii) विद्युतीय अपचयन | –
(iv) धातु का परिष्करण: उपर्युक्त विधि से प्राप्त धातुएँ पूर्ण रूप से शुद्ध नहीं होती है इनमें अशुद्धियाँ होती हैं जिन्हें हटाकर शुद्ध धातु प्राप्त की जाती है। धातुओं से अशुद्धियों का निष्कर्षण की विद्युत अपघटन विधि उपर्युक्त है।

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